IC 814: The Kandahar Hijack Web Series Explained In Hindi | IC 814: The Kandahar HijacK All Episode

Published: Aug 30, 2024 Duration: 00:26:19 Category: Entertainment

Trending searches: kandahar hijack
24 दिसंबर 1999 इंडियन एयरलाइंस की काठमांडू से दिल्ली की फ्लाइट आई 814 अचानक हाईजैक हो गई सबसे पहला सवाल था काठमांडू क्यों नेपाल से इंडिया और चीन की सीमाएं लगती है और इन सीमाओं को पार करना इतना मुश्किल नहीं है इसलिए नेपाल स्पाई एजेंसियों का हमेशा से गड़ रहा है पाकिस्तान चाइना अमेरिका और हम यह थी वो वजह कि हाईजैक के लिए काठमांडू चुना गया किसने किया यह हाईजैक और क्यों किया यह सब भी पता करना था और उन मासूम पैसेंजर की सुरक्षा भी करनी थी इतना पेचीदा था सब कुछ कि सात दिन लग गए क्यों लगे सात दिन क्या-क्या हुआ उन सात दिनों में आइए जानते हैं इस वेब सीरीज से जिसका नाम है i 814 द कंधार हाईजैक लेकिन उससे पहले चैनल को सब्सक्राइब करके नोटिफिकेशन बेल को ऑल पर कर दीजिए ताकि आपको इसी तरह के लेटेस्ट और फ्रेश कंटेंट मिलते रहे तो फर्स्ट एपिसोड की शुरुआत होती है 1999 में 24 दिसंबर में नेपाल में काठमांडू से जहां पर कि आज का वह दिन था जब इंडियन एयरलाइंस का प्लेन जो है वह हाईजैक होने वाला था यहां पर शुरुआत में हमें रामचंद्र यादव को दिखाया जाता है जो कि इंडियन एमबीसी का एक ऑफिसर है जिसे हाल ही में मालूम चला है कि कुछ लोग जो है वो सस्पिशंस ना कुछ बड़ा करने की कोशिश कर रहे हैं इसलिए वोह तुरंत ही कैलाश चौहान के पास जाता है जो कि रॉ के एक ऑफिसर है यहां पर राम उन्हें बताता है कि उसे मालूम चला है कि कुछ लोग जो है वह बड़ा करने वाले हैं और फिर पिछले कुछ दिनों में राम ने बहुत सारे सबूत जो है वो इकट्ठे कर लिए थे कुछ स्पाई माइक लगाकर उसने उन लोगों की बातें सुनी जिनसे कि यहां पर उसके ऑफिसर को भी मालूम चल चुका था कि ये लोग कुछ बड़ा करने वाले हैं लेकिन क्लियर ये नहीं बताया गया कि वो करने क्या वाले हैं इसी चीज का राम जो है वो पता करने लगता है जिसके बाद काठमांडू के एयरपोर्ट का सीन दिखाया जाता है जहां पर कि कुछ लोग जो हैं वो काठमांडू से दिल्ली के लिए रवाना होने वाले थे यहां पर कुछ लोगों को दिखाया जाता है जो की शक्ल से ही हाईजैकर लग रहे हैं जिसके बाद आई 814 के कैप्टन शरण देव को दिखाया जाता है जो कि अपनी एयर हॉस्टेस इंद्रनी के साथ प्लेन में जा रहे होते हैं वो इंद्रनी को बताते हैं कि एक हफ्ते की वेकेशन के लिए वो लोग अमेरिका जाने वाले हैं इसलिए उसे तुरंत ही हैदराबाद जाना होगा तो यहीं पर इंदिरानी जो है वो उन्हें बताती है कि उसके पिता की भी अक्सर तबीयत खराब रहती है इसलिए वो भी उनके पास जल्द से जल्द पहुंचना चाहती है जिसके बाद इस प्लेन में सभी लोगों का स्वागत किया जाता है सारे पैसेंजर जो है वो प्लेन में बैठने लगते हैं तो वहीं दूसरी तरफ हाईजैकर्स ने अपनी सारी प्लानिंग कर ली थी हाशमी नाम का बंदा नहीं आया था जिसका वो इंतजार कर रहे थे तो वहीं इंदिरानी के साथ हमें छाया को दिखाया जाता है जो कि उसी के साथ एयर हॉस्टेस है जिसके बाद वो सारे हाईजैकर जो है वो प्लेन में आ जाते हैं और अब प्लेन जो है वो पूरी तरह से टेक ऑफ होने के लिए रेडी था तो वहीं राम को मालूम चल गया था कि दरअसल में प्लेन जो है वो हाईजैक होने वाला है लेकिन इससे प पहले कि वो उन्हें खबर दे पाता उससे पहले ही 24 दिसंबर 1999 में शाम को 4 बजे यह प्लेन जो है वो टेक ऑफ हो जाता है और राम जो है वो लेट हो गया था तो अब सारे पैसेंजर जो है वो हवाई यात्रा पर थे तभी यहां पर एक हाईजैकर उठता है जिसके हाथ में एक पैकेट था और वो बारी-बारी से यह सारे पैकेट जो है वो अपने लोगों को थमा लगता है तो वई हाईजैकर सब पूरी तरह से रेडी थे इस प्लान को हाईजैक करने के लिए मंकी कैप पहनकर वो लोग तुरंत ही कैप्टन के पास बंदूक लेकर पहुंच जाते हैं और सभी को यह बात बताते हैं कि यह प्लेन जो है वो पूरी तरह से हाईजैक हो चुका है और अब किसी ने भी उछल कूद करने की कोशिश की तो वो उन्हें गोली मार देंगे इसलिए सभी को हाईजैकर्स की बात माननी पड़ती है और यहां पर वो हाईजैकर्स कुछ पैसेंजर को बुरी तरह से जख्मी भी कर देते हैं तो वहीं हाईजैकर्स सबसे पहले कैप्टन से कहते हैं कि इस प्लेन को तुरंत ही काबुल ले चलो लेकिन कैप्टन बताते हैं कि इस प्लेन में इतना फ्यूल नहीं है कि वो लोग काबुल तक पहुंच सके दूसरी तरफ कंट्रोल रूम में यह बात मालूम चल चुकी थी कि आई 814 जो है वो हाईजैक हो चुका है और यह बात नंदिनी नाम की न्यूज़ रिपोर्टर को भी मालूम चल चुकी थी इसलिए नंदिनी जो है वो तुरंत ही सालिनी के पास जाती है जो कि इंडिया हेडलाइंस की एडिटर होती है सालिनी यह बात कंफर्म करने के लिए तुरंत ही रंजन मिश्रा के पास कॉल करती है जो कि रॉ के जॉइंट सेक्रेटरी है यह बात उन्हें भी ज्यादा अच्छे से मालूम नहीं थी लेकिन जब यह बात उन्हें मालूम चलती है तो वो तुरंत ही बी के अग्रवाल के पास पहुंचते हैं जो कि रॉ के हेड है यह बात जब वह सुनते हैं तो वह पूरी तरह से हैरान रह चुके थे कि यह सब कुछ हो गया और हमारे पास कोई टिप कैसे नहीं पहुंची और आईबी वाले क्या कर रहे थे दूसरी तरफ आईबी के मुकुल मोहन और जेपी कोहली को भी यह बात मालूम चल चुकी थी लेकिन जब तक आईबी के डायरेक्टर के पास यह सारी इंफॉर्मेशन पहुंची थी तब तक तो ये सभी लोग पूरी तरह से लेट हो चुके थे तो वहीं हाईजैकर्स ने अभी फिलहाल तो कोई भी डि नहीं बताई है वह सिर्फ कैप्टन से यही बात कह रहे थे कि उन्हें किसी भी तरह से काबुल जाना है लेकिन कैप्टन उन्हें बार-बार कह रहे थे कि ये फ्लाइट जो है वो काबुल तक तो नहीं जा सकती है यह मैक्सिमम लाहौर तक जा सकती है लेकिन अब यह मामला जो है वो काफी गंभीर हो चुका था विजय वान सिंह जो कि विदेश मंत्री है यह बात उन्हें भी मालूम चल चुकी थी धीरे-धीरे करके सारे ऑफिसर जो है वो इस पर काम करने लगे थे उन्हें मालूम चल चुका था कि ये फ्लाइट जो है वो काबुल ले जाना चाहते हैं यहीं पर हम विदेश इस मंत्रालय में जॉइंट सेक्रेटरी को देख पाते हैं जिनका नाम डीआरएस है डीआरएस यहां पर मसूद के बारे में बताता है कि मसूद जो है वो इस्लामिक जिहादी फैलाने में जानामाना आदमी है और वो कश्मीर में दो आतंकवादी गुटों में सुलह कराने के लिए इंडिया आया था लेकिन यहां पर वह गिरफ्तार हो गया और पिछले 5 सालों से वह जेल में बंद है उसे जेल से छुड़ाने के लिए तीन बार नाकामयाब कोशिश भी हो चुकी थी और शायद यह चौथी कोशिश है तो यहां हाईजैकर्स को एक बात तो मालूम चल चुकी है कि वो लोग काबुल तक तो नहीं पहुंच सकते हैं ज्यादा से ज्यादा वो दिल्ली से थोड़ी दूर तक जा सकते हैं तो यहीं पर पहला एपिसोड खत्म होता है सेकंड एपिसोड की शुरुआत में आईवी के असिस्टेंट डायरेक्टर संजय मेहता को दिखाया जाता है जो कि जम्मू की जेल में मसूद से बात करने के लिए पहुंचते हैं कि यह जो हाईजैक हुआ है इसके पीछे कहीं उनका हाथ तो नहीं है लेकिन मसूद उन्हें बताता है कि आज तक उन्होंने सब कुछ सच ही बताया है इस हाईजैक में उनका हाथ तो बिल्कुल नहीं है दूसरी तरफ सुरक्षा सलाहकार विनय कॉल को दिखाया जा ता है यह बात जो है धीरे-धीरे फैलने लगी थी और मुद्दा जो है वह काफी गहरा होता जा रहा था तो वहीं दूसरी तरफ उस प्लान को ट्रैक किया जा रहा था कि कहीं यह प्लान जो है वह काबुल तो नहीं जा रहा है तभी यहां सारे ऑफिसर के बीच में एक रिकॉर्डिंग हाथ लगती है जो कि राम ने भेजी थी यहां पर हाईजैक के बारे में बात हो रही थी और किसी अमजद नाम के आदमी के बारे में भी बात हो रही थी जिसका नाम उनकी कन्वर्सेशन में यूज हुआ था तब यहां पर डीआरएस जो है वो अमजद के बारे में इन सभी को बताने लगता है वो बताता है कि अमजद फारूकी जो है पहले आईएसआई के लिए काम करता था लेकिन बाद में वो अफगानिस्तान में तख्ता पलट के लिए उसने तालिबान का साथ दिया था जिसके बाद वो उनका बहुत ही खास आदमी हो गया था तो एक बात तो तय है कि अमजद फारूकी जो है वो आईएसआई के लिए तो काम नहीं कर रहा है तो वहीं फ्लाइट जो है वो मुड़ जाती है और वो काबुल ना जाकर अब ज्यादा से ज्यादा अमृतसर या फिर लाहौर जाएगी लाहौर बाद की जाती है लेकिन वहां पर लैंड करने की परमिशन उन्हें नहीं मिल पाती है तो अब प्लेन में फ्यूल ना होने की वजह से वो लोग ज्यादा से ज्यादा अमृतसर तक ही जा पाएंगे और यहां कुछ ऑफिसर जो है वो एक वीआईपी पर्सन के बारे में बात कर रहे थे जो कि उस फ्लाइट से ट्रेवल कर रहा है लेकिन उसके बारे में फिलहाल तो नहीं बताया गया दूसरी तरफ राम जो है वो उस ड्राइवर से पूछताछ कर रहा था जिसने कि उन लोगों को जगह-जगह पर छोड़ा था जहां-जहां पर उसने बैग दिए थे वो उन सभी जगह पर चेक करने लगते हैं तो अब शाम को 7:00 बजे के आसपास फाइनल हो चुका था कि वो फ्लाइट जो है वो ला और ना जाकर अमृतसर जाएगी इसलिए सभी लोग पूरी तरह से रेडी हो चुके थे पंजाब पुलिस को भी अपने कमांडोज को रेडी करने का कह दिया गया था सभी लोग पूरी तरह से रेडी थे और वो इस मामले को यहीं पर रफा दफा करना चाहते हैं वहीं हाईजैकर्स ने प्लान यह बनाया है कि वो लोग अमृतसर में कुछ ही देर रुकेंगे जैसे ही प्लेन में रिफ्यूल होगा वो तुरंत ही काबुल के लिए निकल जाएंगे तो वहीं यहां पर राम जो है वो ड्राइवर के साथ उन लोगों के पास पहुंचता है जहां पर बैग डिलीवर किए गए थे राम पहुंचता है तो गोलियां चलने लगती है लेकिन राम जो है वो उस आदमी को पकड़ लेता है जहां पर कि बैग डिलीवर किए गए थे तो लगभग 7वा के आसपास प्लेन जो है वो अमृतसर में लैंड कर जाता है यहां पर कि कैप्टन जो है वो बाउजर के द्वारा प्लेन में रिफ्यूल की मांग करता है बाउजर जो है वो फ्यूल के टैंकर को कहा जाता है उसी बाउजर के पीछे जो है वो कमांडो मौजूद थे लेकिन उन फ्यूल के टैंकर को आगे नहीं भेजा जा रहा था यह देखने के बाद तो हाईजैकर्स को गुस्सा आ जाता है व तुरंत ही पैसेंजर्स के पास पहुंचते हैं और उनमें से दो पैसेंजर के ऊपर बार कर देते हैं जिस वजह से वह बुरी तरह से जख्मी हो जाते हैं तो वहीं बड़े ऑफिसर का मानना यह था कि अगर यह फ्लाइट अमृतसर में ही रहती है तो सारा मामला जो है वह कंट्रोल में रहेगा लेकिन हाईजैकर्स को यहां पर कुछ अजीब सा लगता है इसलिए वो डिसाइड करते हैं कि वो लोग अमृतसर में नहीं रुकने वाले वो तुरंत ही कैप्टन से कहते हैं कि इस फ्लाइट को टेक ऑफ किया जाए तो यहां पर कैप्टन जो है वो उनकी बात मान जाता है और इस फ्लाइट को यहां से टेक ऑफ कर देता है और यहीं पर सेकंड एपिसोड खत्म होता है तो थर्ड एपिसोड की शुरुआत में हम देखते हैं कि 750 को यह प्लान जो है वो अमृतसर से निकल चुका था तो वहीं कॉल और यहां के कुछ मिनिस्टर्स हैं जो कि बात कर रहे थे कि अब यह बात जो है वो पीएम को बतानी होगी क्योंकि ये प्लान जो है अब पाकिस्तान में लाहौर में जा रहा था जहां पर कि हमें बताया जाता है कि मैं 1999 में पाकिस्तान आर्मी के द्वारा कारगिल में इंडिया में हमला हुआ लेकिन पाकिस्तान ने इस बात से साफ इंकार कर दिया था कि उनकी तरफ से कोई भी हमला नहीं किया गया है बल्कि कुछ मिलिटेंट हो गए जिन्होंने हमला किया था इस हमले की वजह से हमारे कुछ सोल्जर्स भी शहीद हो गए थे तो फिर दो महीने बाद इंडियन एजेंसियों ने यहां पर जनरल मुसर्रत जो कि पाकिस्तान के चीफ हैं चाइना में उनका फोन टैप किया और इस रिकॉर्डिंग से यह बात साबित हो गई कि दरअसल में जनरल मुशर्रफ ने अपनी आर्मी के द्वारा ही कारगिल पर हमला करवाया था तब नवाज शरीफ ने वाशिंगटन को बताया कि उनकी बिना परमिशन के मुशर्रफ ने यह अटैक करवाया था तब मुशर्रफ को आदेश दिए जाते हैं कि वो अपनी आर्मी को वापस बुला ले ये उनके लिए काफी शर्मनाक वाली बात थी लेकिन दो महीने के बाद मुशर्रफ ने यहां पर नवाज शरीफ की सरकार गिरा दी और फिर मुशर्रफ ही सरकार चला रहे थे उसके 3 महीने बाद ही यह हाईजैक हो गया था तो प्लान जो है वो लाहौर जा रहा था परमिशन तो नहीं थी लेकिन किसी तरह से उन्हें परमिशन मिल चुकी थी जैसे ही लोग लाहौर पहुंचते हैं वहां पर एक मेजर के द्वारा जो है वो सारी स्ट्रीट लाइट जो है वो बंद करा दी जाती है तोब रनवे ना दिखने की वजह से वो एक ऐसी जगह पर फ्लाइट को लैंड करने लगते हैं जहां पर कम आबादी हो लेकिन तभी यहां पर उन्हें परमिशन मिल जाती है और उन्हें बताया जाता है कि वो लाहौर में फ्लाइट लैंड कर सकते हैं तब कैप्टन तुरंत ही लाहौर एयरपोर्ट पर इस फ्लाइट को लैंड करता है जहां पर कि थोड़ी देर के बाद इस प्लेन में फ्यूल भर दिया जाता है और ज्यादा देर ना करते हुए वो 9:30 बजे के आसपास जो है वो अपने प्लान को टेक ऑफ कर लेते हैं और यहां से अब यह फ्लाइट जा रही थी डायरेक्ट काबुल दूसरी तरफ हम देखते हैं कैप्टन की फैमिली को जिसे हाल ही में मालूम चला है कि फ्लाइट जो है वो हाईजैक हो चुकी है ये लोग हैदराबाद जाने वाले थे लेकिन अब यहां पर उसकी वाइफ भी दिल्ली आ जाती है तो अबी यह फ्लाइट जो है वो काबुल के आसपास पहुंच चुकी थी काबुल के कंट्रोल रूम से जब लैंड करने की परमिशन ली जाती है तो वो लोग साफ इंकार कर देते हैं और और कहते हैं कि रात को 3:30 बजे से पहले यहां पर कोई भी लैंडिंग नहीं हो सकती है तब हाईजैकर्स कहते हैं कि तब तक इस फ्लाइट को हवा में ही उड़ने दो लेकिन उन्हें बताया जाता है कि इस फ्लाइट में 4 घंटे से ज्यादा का फ्यूल नहीं है इसलिए वो लोग इस फ्लाइट को हवा में नहीं रहने दे सकते हैं तो अब ये फ्लाइट जो है वो दुबई जाने लगती है कि तब तक वो वहां रुकेंगे यह बात यहां पर मंत्रालय में भी मालूम चल चुकी थी कि वो फ्लाइट जो है वो दुबई जा रही है लेकिन अगर अब ये फ्लाइट दुबई जा रही है तो उन्हें वाशिंगटन को सब कुछ बताना होगा और वहां की सुरक्षा की जिम्मेदारी भी लेनी होगी लेकिन यह सब कुछ इतना आसान नहीं था क्योंकि वहां के लोग जो हैं वो थोड़े रूठे हुए हैं दरअसल में बात यह है कि 13 मई 1998 में हमने तीन न्यूक्लियर परीक्षण किए थे और जो कि किसी की भी निगरानी में नहीं आ सके थे और यह बात जब वाशिंगटन को मालूम चली तो वो थोड़े हमसे खफा हो गए थे और इस बात को अभी ज्यादा कुछ साल भी नहीं हुए थे और अब अगर यह फेवर लेंगे तो शायद वो इसके लिए इंकार भी कर सकते हैं लेकिन बात करने के दौरान यहां पर हमें पता चलता है कि दुबई में फ्लाइट करने के लिए उन्हें परमिशन मिल चुकी थी तो यहां पर 1:2 को मतलब कि रात को 25 दिसंबर क्रिसमस डे के दिन दुबई में यह फ्लाइट जो है वो लैंड हो जाती है तभी यहां पर एक हाईजैकर कहता है कि यह दुबई का हवाई अड्डा तो बिल्कुल नहीं लग रहा है व पहले यहां पर आ चुका है कैप्टन बताता है कि यह दुबई का ही हवाई अड्डा है यह इंटरनेशनल हवाई अड्डा नहीं है लेकिन दुबई में ही है हम तो हाईजैकर्स ने अभी तक कोई मांग तो नहीं की थी लेकिन यहां पर वोह अपनी एक मांग जरूर करते हैं और जो कि वह हमेशा से करते आ रहे हैं कि इस प्लान को रिफ्यूल किया जाए दूसरी तरफ सालनी जो है वो नंदिनी के पास गुस्से में जाती है क्योंकि उसने उल्टी सीधी रिपोर्ट छाप दी थी दरअसल में उसने यह रिपोर्ट छापी थी कि कैप्टन जो है वो अमृतसर में 2 मिनट नहीं रुक सका अगर वो वहां रुक जाता तो ऑपरेशन वहीं हो जाता और सब कुछ ठीक हो जाता इस वजह से वो उसे वहां बहुत चिल्लाती है तो वहीं दुबई एयरपोर्ट पर प्लेन में रिफ्यूल नहीं हो पा रहा था वो इसलिए क् क्योंकि वहां के कंट्रोल रूम से एक आवाज आती है और कहा जाता है कि जब तक आप बच्चे और औरतों को नहीं छोड़ते हैं तब तक इस प्लेन में रिफ्यूल नहीं होगा लेकिन यहां पर भी हाईजैकर्स भी साफ मना कर देते हैं कि जब तक रिफ्यूल नहीं होगा तब तक वो हाईजैकर्स जो हैं वो औरतें और बच्चे को नहीं छोड़ने वाले हैं और इसी के साथ एपिसोड थ्री जो है वो यहीं पर खत्म होता है तो फोर्थ एपिसोड की शुरुआत होती है जहां पर कि हम देखते हैं कि हाईजैकर्स जो है वो बच्चे और औरतों को नहीं छोड़ रहे थे लेकिन यहां पर कंट्रोल रूम में उनकी बात जब सेख से होती है और वो उन्हें इस्लाम के पाठ पढ़ाता है तो यहां पर हाईजैकर जो है वो औरतों और बच्चों को छोड़ देते हैं तो 25 दिसंबर को लगभग सुबह 3:00 बजे के आसपास हाईजैकर्स जो है वो बच्चे और औरतों को छोड़ने लगते हैं लेकिन कई सारे औरतें ऐसी थी जो कि अपने पति या फिर अपने फैमिली को छोड़कर नहीं जा रही थी इसलिए वो यहीं पर रुक जाती है यहां पर हमें कुछ रियल फुटेजेस भी दिखाए जाते हैं और यहीं पर रूपेश नाम के लड़के की डेड बॉडी फेंक दी जाती है जिसकी हाल ही में शादी हुई थी दरअसल में रूपेश का गला काट दिया गया था ज्यादा खून बह जाने की वजह से उसकी यहां पर मौत हो गई और फिर लगभग सुबह 4:00 बजे के आसपास यह प्लान जो है वो टेक ऑफ कर जाता है दूसरी तरफ ऑफिसर जो है वह मसूद से पूछ ताज कर रहे थे मसूद उन्हें बताता है कि उसे बिल्कुल भी अंदाजा नहीं है कि उसे कोई छुड़वाने के लिए आया है लेकिन ऑफिसर को मालूम है कि जरूर दाल में कुछ काला है जिसके बाद बताया जाता है कि अफगानिस्तान में 1996 में मुल्ला नाम के तालिबान ने यहां पर हुकूमत रखी मुल्ला उमर जो है वह अफगानिस्तान को एक पावरफुल इस्लामिक देश बनाना चाहता था लेकिन हुआ इसका पूरी तरह से उल्टा सारे देशों ने उनसे कनेक्शन तोड़ लिए और कोई भी उनका साथ नहीं दे रहा था तो वही दुबई से निकलने के बाद यह फ्लाइट जो है अब हाईजैकर्स जो है वो इसे अफगानिस्तान के कांधल ले जाना चाहते हैं तो कैप्टन भी उसकी बात मान जाते हैं और यह बात अब सरकार को भी मालूम चल चुकी थी कि वो फ्लाइट दरअसल में अफगानिस्तान के अंधार में जा रही है अभी हाईजैकर्स ने अपनी डिमांड नहीं बताई है लेकिन यहां पर सुबह के 8 बजे के आसपास यह फ्लाइट जो है वो कांधल में लैंड हो जाती है तो कांधल एक ऐसी जगह है जहां पर तालिबानियों का राज चलता है और माना जाता है कि कांधल में ही ओसामा बिन लादेन भी छिपा हुआ है जिसके बाद हम तालिबान के फॉरेन मिनिस्टर को देख पाते हैं जिनका नाम मुत्ता वकील है वो तुरंत ही उस जगह पर पहुंच जाते हैं तालिबान जो है वो इस प्लेन को चारों तरफ से घेर लेते हैं और पूरी तरह से हथियार से लज थे तो अब कैप्टन समेत सारे पैसेंजर जो है वो यहां पर रेस्ट करने लगते हैं तब यहां पर एक औरत जो है वो रूपेश नाम के आदमी के बारे में पूछने लगती है जिनकी हाल ही में शादी हुई है वो कहती है कि वो आगे बैठे हुए थे लेकिन उसे नहीं मालूम है कि दरअसल में रूपेश जो है वह मारा जा चुका है तो भाई रियल फुटेजेस के द्वारा दिखाया जाता है कि तालिबानियों ने किस तरह से इंडियन एयरलाइंस का ख्याल रखा और खाने पीने से लेकर सारी चीजों का बंदोबस्त भी कराया यहां दूसरी तरफ अटल बिहारी शप जी जो कि इंडिया के प्रधानमंत्री हैं वो कहते हैं कि अगर हमारे पैसेंजर्स को कुछ भी हुआ तो वो कुछ भी कर सकते हैं वो यहां पर डिमांड के बारे में भी बताते हैं कि अभी तक उन्होंने कोई डिमांड नहीं बताई है साथ ही सरकार ने साफ मना कर दिया था कि वो उन हाईजैकर्स के साथ नेगोशिएट नहीं करेंगे जिस वजह से सारे ऑफिसर को पीएम की बात माननी पड़ती है जिसके बाद हम देखते हैं कि हाईजैक का यह तीसरा दिन था फ्लाइट में जितने भी पैसेंजर्स थे उन सभी का जितना ज्यादा हो सके उतना ख्याल रखा जा रहा था था लेकिन एक बहुत बड़ी प्रॉब्लम यह थी कि सुबह-सुबह टॉयलेट जाने में प्रॉब्लम हो रही थी टॉयलेट इतना ज्यादा भरा चुका था कि वहां से बहुत ही ज्यादा गंदी बदबू आने लगी थी कई लोग तो टॉयलेट जाने से भी साप इंकार कर देते हैं इसलिए यहां पर गेट खोलने की बात चीप कहते हैं तो यह सुनने के बाद इंद्रनी जो है वो तुरंत ही एयरलाइंस का गेट खोल देती है यह देखने के बाद चीप जो है वो इंद्रनी को थप्पड़ लगा देते हैं और कहते हैं कि मेरे पूछे बिना अब गेट कोई भी नहीं खोलेगा तो वई रिफ्यूल की प्रक्रिया शुरू हो चुकी थी लेकिन यहां पर कैप्टन ने एक प्लान बनाया था कि इसे जेटसन किया जाए अगर रिफ्यूल के वक्त अगर प्रेशर बीक में वो छेड़छाड़ कर दें तो फ्यूल जो है वो लीक होने लगेगा क्योंकि हाल ही में उन्होंने सुना है कि सरकार जो है वो उनसे नेगोशिएट नहीं करेगी इसलिए वो कह रहे थे कि हम इस फ्लाइट को पार्लियामेंट प गिराए इसलिए कैप्टन ने सोचा कि इससे अच्छा तो यही है कि अगर हम फ्यूल के चेंबर से छेड़छाड़ कर दें तो यह फ्लाइट जो है वो कहीं भी नहीं जा पाए वह ऐसा ही करते हैं लेकिन यह बात जब चीफ को मालूम चलती है तो वह तुरंत ही यहां कैप्टन के पास आता है वो को पायलट और उन सभी को मारने लगता है लेकिन थोड़ी देर के बाद यहां पर यूएन के लोग आ जाते हैं दरअसल में वो लोग शायद इनसे नेगोशिएट करने वाले थे क्योंकि अब यह जो मामला जो है वह इंटरनेशनल हो चुका है तो भाई इंडिया सरकार भी एक टीम बनाती है इन हाईजैकर से नेगोशिएट करने के लिए यहां पर चार लोगों की टीम बनाई जाती है जो कि उन लोगों से नेगोशिएट करेंगे तो भाई राम जो है वो काठमांडू में उन लोगों से पूछताछ कर रहा था उसे मालूम चला है कि फ्लाइट के लगेज बॉक्स में दअसल में 17 किलो आरडीएक्स है तो वही इंडिया सरकार ने चार लोगों की टीम जो है वो कांधल पहुंचा दी गई थी जो कि अब इन हाईजैकर से नेगोशिएट करेंगे यहां पर सरकार को वो लोग सभी चीजें बता देते हैं कि यहां पर क्या हो रहा है जिसके बाद हमें बताया जाता है कि ओसामा बिन लादेन जो है वह कांधल में ही छिपा हुआ है और ओसामा जो है व इस जगह पर पूरी तरह से सेप है दरअसल अफगानिस्तान में दो फौज हुआ करती है जिनमें से एक फौज जो है वो अफी उगा करर पैसा कमाती है और वो बहुत अमीर भी है और साथ ही उनके पास बहुत सारी फौज भी है जो काफी पावरफुल है इसलिए यहां पर ओसामा बिन लादेन जो है वो उन्हीं के साथ रहता है तो वहीं डीआरएस जो है वो यहीं पर तालिबान के फॉरेन मिनिस्टर मुत्ता वकील से बात करता है वो लगातार उनसे बातचीत करता है ताकि वो उहे किसी तरह से यहां की सिचुएशन हैंडल करने के लिए मना सके तो वही मुकुंद मोहन जो है वो इस नेगोशिएट करने की कमान को संभालते हैं वो उनसे बात करना शुरू करते हैं जहां पर कि वो सबसे पहले जानना चाहते थे कि क्या पैसेंजर में सभी लोग सेफ हैं वो सभी लोग सेफ थे लेकिन सबसे बड़ी बात तो यह है कि अभी तक उन्होंने डिमांड नहीं बताई है इसलिए वो लोग अगले दिन बात करने के लिए कहते हैं यहां छाया देखती है कि टॉयलेट जो है वो पूरी तरह से गंदा हो चुका है और कोई भी पैसेंजर वहां नहीं जा रहा है यह देखने के बाद छाया जो है वो उस टॉयलेट को खुद ही साफ करने लगती है तो अगले दिन उन हाईजैकर्स ने अपनी डिमांड बता दी थी उन्होंने यहां पर अपनी तीन डिमांड रखी थी और उनकी ये तीन डिमांड बहुत ही ज्यादा पेचीदा थी वो तीन डिमांड ये थी कि उन्हें सज्जाद अफगानी की लाश चाहिए जिसे 6 महीने पहले इंडियन ने मार दिया है साथ ही उन्हें 200 मिलियन डॉलर चाहिए हैं और 35 लोग जो कि जेल में बंद है उन्हें रिहा करके इनके पास लेकर जाना है तो भाई कैप्टन जो है वो टॉयलेट के चेंबर को ठीक करने लगता है जहां पर कि हाईजैकर भी उसके साथ था यह काम वैसे कैप्टन का नहीं था इसके बावजूद कैप्टन जो है वह अपनी जिम्मेदारी निभा रहा था और यह काम कर रहा था यहां मुकुंद मोहन जो है वो हाईजैकर से कहते हैं कि आपको इतनी सी डिमांड के लिए 5 दिन लग गए उसे ऐसा लगता है कि इसके पीछे कोई और भी है वो उन से कहते हैं कि इतना सब कुछ तो हम आपको नहीं दे पाएंगे इसलिए हम आपसे कल बात करते हैं यहां पर कैप्टन ने टॉयलेट के चेंबर को ठीक कर दिया था इसलिए उसका तालियों से स्वागत किया जाता है क्योंकि यही फिलहाल एक बहुत बड़ी प्रॉब्लम थी तो वहीं शालिनी के पास नंदिनी का कॉल आता है और शालिनी को मालूम चलता है कि नंदिनी जो है वो काठमांडू पहुंच चुकी है इन्वेस्टिगेशन करने के लिए और उसे एक बात मालूम चली है कि जो पैसेंजर की लिस्ट दी गई है उनमें से एक नाम मिसिंग है और वो नाम था कैलाश चौहान का सरकार ने यह नाम जानबूझकर छिपाया है इसलिए वो अगले दिन इसी के बारे में छापे की लेकिन यहां पर शालिनी जो है वो नंदिनी से यह सब कुछ करने से मना करती है वो कहती है कि अगर यह सब कुछ किया तो उन हाईजैकर्स को यह बात मालूम चल जाएगी कि कैलाश चौहान जो है वो रॉ का एक ऑफिसर है और वो इसका फायदा उठा सकते हैं इसलिए शालिनी जो है वो नंदिनी को इस चीज की परमिशन बिल्कुल भी नहीं देती है अब हाईजैक का यह छठवां दिन था और नेगोशिएशन अभी भी पूरी तरह से ऑन था तो मुकुंद मोहन को उनकी बातों से एक बात तो मालूम चल चुकी है कि उन्हें मसूद चाहिए है मुकुंद मोहन उनसे कहता है कि हम आपको मसूद देंगे और साथ ही चार लोग और भी देंगे या फिर आप सिलेक्ट करो कि आपको मसूद के साथ दो लोग और कौन चाहिए तो भाई राम जो है वो अब हेड क्वार्टर पहुंच चुका था जहां पर कि वो अपने रॉ के ऑफिसर से बात करता है वो उन्हें बताता है कि इस लगेज में 17 किलो आरडीएक्स रखा हुआ है लेकिन इस बात का जिक्र अभी तक नहीं हुआ है मतलब कि उन हाईजैकर्स को इसके बारे में नहीं मालूम है जरूर इसके पीछे आईएसआई के एजेंट कहां थे इसलिए उसका हिसाब भी बराबर करना होगा जो कि काठमांडू में ही है आगे हम देखते हैं कि तालिबान के फॉरेन मिनिस्टर जो है वो आगे आते हैं वो यहां पर हाईजैकर से बात करते हैं क्योंकि ये डिमांड पूरी तरह से डन नहीं हो पा रही थी वो उनसे कहते हैं वो हाईजैकर्स से कहते हैं कि यहां पर खून का एक कतरा भी नहीं बह सकता है वो कहते हैं कि अगर तुम्हें डिमांड मंजूर नहीं है तो हम आपके प्लान में रिफ्यूल करा देंगे और आप यहां से निकल जाना लेकिन हाईजैकर्स को यहां पर हमारे ऑफिसर की डील मंजूर नहीं थी इसलिए वो कह देते हैं कि यह सौदा नहीं हो सकता जिसके बाद हाईजैकर जो है वो तीन लोगों के नाम बताता है अगर उन्हें छोड़ दिया जाए तो उन्हें और कुछ नहीं चाहिए और वो नाम थे मसूद के साथ उमर सईद शेख और मुस्ताक जरगर और ये तीनों ही बहुत ही बड़े टेररिस्ट हैं ये सुनने के बाद तो सारे ऑफिसर जो है वो पूरी तरह से शॉक्ड रह जाते हैं क्योंकि उन्हें मालूम है कि एक को तो छोड़ा जा सकता है लेकिन दो लोगों को कतई नहीं छोड़ा जा सकता क्योंकि उनमें से दो लोग जो हैं वो कश्मीर की जेल में बंद है और उन्हें छोड़ने की परमिशन कश्मीर के सीएम जो है वो बिल्कुल भी नहीं देने वाले थे सिर्फ आधे घंटे ही बचे थे और सरकार को उन हाईजैकर्स को बताना था कि उन्हें यह डील मंजूर है या फिर नहीं लेकिन आधे घंटे के अंदर कोई कश्मीर कैसे जाए और वहां के सीएम को कैसे मनाए तब यहां पर हमारे गवर्नमेंट ऑफिसर जो है वो एक चाल चलते हैं वो उन हाईजैकर से कह देते हैं कि उन्हें ये डील मंजूर है और यहां से रॉक एक ऑफिसर को कश्मीर के सीएम के पास भेजा जाता है उन्हें मनाने के लिए यहां इस रॉ के ऑफिसर को पहले ही समझा दिया जाता है कि हमारे पास कोई ऑप्शन नहीं है हमें कश्मीर के सीएम को मनाना ही होगा कश्मीर के सीएम तो साफ मना कर रहे रहे थे कि वो इस पर साइन नहीं करने वाले लेकिन आखिर में वो साइन कर देते हैं औरन दोनों को छोड़ना ही पड़ता है यहां पर सालनी के पास नंदनी का एक वॉइस मैसेज आता है और वो कहती है कि वह काम छोड़ रही है और जब उसे ऐसा लगेगा कि वो गलत है तो वह वापस आ जाएगी तो उन तीनों टेररिस्ट को अब कांधल भेजा जा चुका था उन तीनों टेररिस्ट के बदले में सारे पैसेंजर को छोड़ दिया गया था सही सलामत किसी पैसेंजर को कोई भी चोट नहीं आई थी उन्हें छोड़ने के बाद वो टेरिस्ट जो है वो यहां से चले जाते हैं कैप्टन को भी शाबाशी दी जाती है उनकी बहादुरी को लेकर और यहां पर कुछ रियल फुटेजेस दिखाया जाते हैं जहां पर कि सारे पैसेंजर जो है अब इंडिया आ चुके थे यहां पर नंदिनी सालिनी के पास आती है वो उनसे माफी मांगती है और कहती है कि वो गलत थी नंदिनी ने बिल्कुल सही किया था अगर कैलाश चौहान के बारे में उन हाईजैकर्स को मालूम चल जाता तो वो एक्स्ट्रा फायदा उठा सकते थे तो इस तरह से हमारे देश के रिपोर्टर ने भी इस हाईजैक में मदद की और लोगों को सही सलामत छुपाया गया वहां काठमांडू में में आईएसआई के एजेंट के पास 17 किलो आरडीएक्स बरामद होता है इन्हें अरेस्ट कर लिया जाता है और यह सब कुछ राम ने प्लान किया था क्योंकि हमें बदला भी लेना था तो आगे मालूम चलता है उमर सईद शेख मसूद अजहर और अहमद जरगर इन तीनों आतंकवादियों को छोड़ दिया गया था यह कोई आम आतंकवादी नहीं है इनने हजारों लोगों को मारा है और वहां से छूटने के बाद भी पुलवामा 2611 में कई सारे अटैक जो है वो इन्होंने कराए थे उन्हें छोड़ने का यह डिसीजन सही है या फिर गलत यह डिसीजन मैं आपके ऊपर छोड़ता हूं पर यह वेब सीरीज यहीं पर कंप्लीट हो जाती है और यह वीडियो भी तो उम्मीद करता हूं दोस्तों आपको वीडियो पसंद आई होगी वीडियो पसंद आई हो तो वीडियो को लाइक करके चैनल को सब्सक्राइब करके नोटिफिकेशन बेल को ऑल पर कर दीजिए ताकि आपको इसी तरह के लेटेस्ट और फ्रेश कंटेंट मिलते रहे धन्यवाद जय हिंद जय भारत जय श्री राम

Share your thoughts

Related Transcripts

IC 814: The Kandahar Hijack (2024) || Season 1 #shorts thumbnail
IC 814: The Kandahar Hijack (2024) || Season 1 #shorts

Category: Entertainment

घटना थी काठमांडू से दिल्ली आ रही फ्लाइट आई 814 के हाईजैक की ये फ्लाइट पहले अमृतसर में रोकी गई फिर पाकिस्तान के लाहौर दुबई होते हुए अफगानिस्तान के कंधार पहुंची यह हाईजैक सात दिन तक चला जिसने देश भर को झकझोर कर रख दिया इस वेब सीरीज की कहानी कैप्टेन देवी शरण और श्रींजॉय चौधरी की किताब फ्लाइट ऑफ फियर अ कैप्टन स्टोरी पर आधारित है और यह हाल ही में आदित्य श्रीवास्तव देवाशीष और सुशांत सिंह जैसे दिग्गज कलाकार मुख्य भूमिकाओं में हैं इसका निर्देशन अनुभव... Read more

आतंकियों के नाम बदलने पर मचा बवाल, मुश्किल में 'IC 814 The Kandahar Hijack' | Anubhav Sinha thumbnail
आतंकियों के नाम बदलने पर मचा बवाल, मुश्किल में 'IC 814 The Kandahar Hijack' | Anubhav Sinha

Category: Entertainment

बस साथ रख जो शुद्ध है शुद्ध प्लस सिल्वर पा मसाला सबकी जुबान पर साल 1999 के कंधार प्लान हाईजैक की घटना पर आईसी 814 द कंधार हाईजैक सीरीज आई जिसका रिव्यू मैंने कुछ ही दिन पहले किया अगर आपने वह वीडियो नहीं देखी तो कोई बात नहीं इस वीडियो के बाद देख लेना इस सीरीज में एक्टर विजय वर्मा ने कैप्टन देवी शरण का किरदार निभाया है जो प्लेन हाईजैक के द न पायलट होते हैं netflix.com अगर आपने अभी तक दक जागरन के youtube4 दिसंबर 1999... Read more

IC 814 Kandahar Hijack Complete Details 🔥| Netflix Web Series Controversary? thumbnail
IC 814 Kandahar Hijack Complete Details 🔥| Netflix Web Series Controversary?

Category: Education

हाई सभी लोगों को नमस्कार और एक बार फिर से स्वागत है आप सभी लोगों का आज जिस कंट्रोवर्सी के बारे में बात करने वाले हैं एक मुद्दा बहुत दिनों से जब से के इंटरनल सिक्योरिटीज के लिए क्या-क्या चैलेंजेबल मेे िक हमने किस तरीके से उसको टैकल किया सबसे पहले बात करते हैं मुद्दे की जो कंट्रोवर्सी हो रही है कंट्रोवर्सी इस बात की है कि इसमें पांच लोग जो जिन्होंने हाईजैक किया था वह इस्लामिक नेम के थे अब इस वेब सीरीज में जो नाम उपयोग में लिए गए हैं वह हिंदू देवताओं के नाम हैं... Read more

IC 814 The Kandahar Hijack Web Series Short Review Explain in Hindi #bollywood  #netflix thumbnail
IC 814 The Kandahar Hijack Web Series Short Review Explain in Hindi #bollywood #netflix

Category: Film & Animation

आई 8144 द कंधार हाईजैक एक ऐसी वेब सीरीज है जो 1999 में एक भारतीय उड़ान को आतंकवादियों द्वारा अपहरण की तीव्र कहानी बताती है 6 दिनों तक लगभग 200 यात्रियों को बंधक बना लिया गया जिससे आतंकवादियों और भारतीय सरकार के बीच एक तनावपूर्ण गतिरोध उत्पन्न हो गया यह सीरीज मांगों गलतियों और इस संकट के दौरान भावनात्मक संघर्षों को दिखाती है जो सरकारी अधिकारियों और बंधकों को मुक्त करने के प्रयासों के बीच हुए संघर्ष को दर्शाती है अनुभव सिन्हा द्वारा निर्देशित यह सीरीज... Read more

IC 814 Kandahar Hijack REVIEW | Vijay Verma | Patralekhaa PauL | NETFLIX | TSR thumbnail
IC 814 Kandahar Hijack REVIEW | Vijay Verma | Patralekhaa PauL | NETFLIX | TSR

Category: Film & Animation

सो टाइम्स ऑफ इंडिया के क्रिटिक्स ने दिया है इन्हें फोर आउट ऑफ फाइव स्टार्स डेकन हेरोल्ड वालों ने भी इन्हें दिया है फोर आउट ऑफ फाइव स्टार्स द क्विंट वालों ने भी इन्हें दिया है फोर आउट ऑफ फाइव स्टार्स एडीटीवी वालों ने दिया है ज 3.5 आउट ऑफ फाइव स्टार्स आईएमडीबी में इन्हें मिले है अभी तक 7.2 स्टार्स आउट ऑफ़ 10 विथ 1.1 000 पीपल रिव्यूइंग इट यस जब आपको इतना कॉन्फिडेंस अपने काम पे कि उसे एक्स्ट्रा मार्केट करने की बिल्कुल जरूरत नहीं होती है और यह बात अनुभव सिन्हा... Read more

Netflix Web Series IC814||6 Episodes|| Complete Review||By Sajid Arrain||Exclusive Show thumbnail
Netflix Web Series IC814||6 Episodes|| Complete Review||By Sajid Arrain||Exclusive Show

Category: Entertainment

गुड इवनिंग दिस इज योर कैप्टन [संगीत] स्पीकिंग क्या ज्यादा इंपॉर्टेंट है हिस्ट्री जो बाद में पढ़ी जाएगी कितने पैसेंजर से डिमांड्स पकड़ो ठोको कहानी खत्म फिर क्या घंटा हाईजैक करेंगे दुनिया देखेगी पाकिस्तान की नई हुकूमत ने क्या किया अमृतसर एयरपोर्ट के अंदर कमांडोज तैयार खड़े थे अपने काम से प्यार हो ना तो फिर काम नहीं दिखता जिम्मेदारी दिखती [संगीत] है ब वई कहार कंपलीटली आउट ऑफ फ्यूल मेडे मेडे मेडे [संगीत] अस्सलाम वालेकुम व्यूवर्स मैं हूं साजिद अराई और आप देख रहे हैं साजिद... Read more

DILLAGI | To Watch Full Video Download And Subscribe RATRI APP Now  #ratri #ratriapp #ratrioriginals thumbnail
DILLAGI | To Watch Full Video Download And Subscribe RATRI APP Now #ratri #ratriapp #ratrioriginals

Category: Entertainment

अगर धमकी लग रही है तो धमकी ही समझना तुझे जो करना है [संगीत] कर निशा जी मैम सरवाल की फाइल लेके आ यस मैम निशा बोलो मैम वो बताया था ना आपको मेरी छुट्टी को लेकर वो तो ठीक है पर तुम्हारे रिप्लेसमेंट का क्या हुआ जी मैम वो 2 बजे तक आने वाला है ठीक है तो तुम मुझसे अच्छे से काम ब्रीफ कर [संगीत] दो डाउनलोड द रात्रि पप एंड सब्सक्राइब नाउ Read more

ओटीटी सीरीज़ के बहाने भारत विरोधी विमर्श गढ़ने का खेल #modi #netflix #ott #ic814 #hijack #pakistani thumbnail
ओटीटी सीरीज़ के बहाने भारत विरोधी विमर्श गढ़ने का खेल #modi #netflix #ott #ic814 #hijack #pakistani

Category: News & Politics

ऐसी ओटीटी ऐसी फिल्में बनाने का एक और उद्देश्य होता है यह जो फिल्म बनी है जिन सज्जन ने बनाई है अब उनकी जो समझ है जो विचारधारा है उसका अंदाजा सिर्फ आप एक बयान से उनके लगा लीजिए एक इंटरव्यू में उ उन्होंने कहा कि आतंकवाद मुसलमानों ने नहीं शुरू किया दूसरा सवाल पूछा गया किसने शुरू किया उनका कहना था मुझे याद नहीं है अभी मेरी कहानी यहां से शुरू होती इस ओटीटी को बनाने का उद्देश्य सच बताना नहीं था इस ओटीटी को बनाने का उद्देश्य सच को छुपाने का था जो विवाद... Read more

କାନ୍ଦହାର ବିମାନ ଅପହରଣ ପଛରେ ପାକିସ୍ତାାନ IC-814 flight Kandahar hijack | Pakistan ISI  | Odia News thumbnail
କାନ୍ଦହାର ବିମାନ ଅପହରଣ ପଛରେ ପାକିସ୍ତାାନ IC-814 flight Kandahar hijack | Pakistan ISI | Odia News

Category: News & Politics

बहु चर्चित वेब सीरीज आई 84 द कार दे आतंकवादी कोनावा दे उ कनेक्शन गुरु ना विमान को सा दिन कार एरपोर्न कटकता स्वामी बपिन मेन अनुभूति रा भाग का अप घटना घटना रि वेब म [संगीत] च नेफ पर रिलीज आतंकवाद कोड नेम बा संकेतिक ना को बर कर फ जा ना हिंदू ना र जा भ भता दे आ कर हिंदू संगठन न भला शकर दना [संगीत] बर हिंदू आ का [संगीत] विवाद हम पाकिस्तान आवा दक से विमान से िया था कटक बास स्वामी बपिन मे जान सा दिन री ता एव स्वामी विपिन मेनन... Read more

Netflix की Web Series 'IC 814' पर विवाद, अधिकारियों की आज पेशी | IC 814 The Kandahar Hijack thumbnail
Netflix की Web Series 'IC 814' पर विवाद, अधिकारियों की आज पेशी | IC 814 The Kandahar Hijack

Category: News & Politics

चल रही है गई है जब आतंकवादियों ने इंडियन एयरलाइंस की एक फ्लाइट को हाईजैक कर लिया था और इधर शिवसेना शिंदे गुट और राज ठाकरे की पार्टी एमएनएस ने भी टफ की वेब सीरीज आईसी 814 द कंधार हाईजैक का विरोध कर दिया है कोलकाता पुलिस भी इसके ऊपर एफआईआर करा सीट हो गया था तो यह अचानक सीबीआई का हाथ में चला गया पुलिस भी इसके ऊपर काम शुरू कर रहे थे और इस बीच गाई जाए netfx3 को हुई थी और पांच आतंकियों ने इंडियन एयरलाइंस के... Read more

The Kandahar Hijack: IC 814  की कहानी, यात्री की जुबानी...| Full Interview thumbnail
The Kandahar Hijack: IC 814 की कहानी, यात्री की जुबानी...| Full Interview

Category: News & Politics

शंकर और भोला नाम ू ने यूज करे गए हाईजैकर्स की आइडेंटिटी चेंज करने के लिए क्या सही में जो हाईजैक थे उनके नाम शंकर और भोला भी थापन को उन्होने कहा कि मैडम इसकी ड्रेसिंग कर दीजिए आपको कहीं ना कहीं मैम ऐसा लगता है कि क्या भारत सरकार की तरफ से देरी हुई है आप लोगों को बचाने में कि वो गवर्नमेंट के अगेंस्ट सबका ब्रेन वश कर रहे थे मैम आप दुबई नहीं उतरे थे नहीं सर मैंने कहा सर अगर ऐसी सिचुएशन आती है आप लोग क्या करते हैं तो उसने आइट बोला... Read more

Fikr Aapki: IC-814 वेब सीरीज का विवाद वाला एपिसोड रिलीज | The Kandahar Hijack Controversy thumbnail
Fikr Aapki: IC-814 वेब सीरीज का विवाद वाला एपिसोड रिलीज | The Kandahar Hijack Controversy

Category: News & Politics

ब्रब कीी में अब एक ऐसी खबर जो आज बहुत ज्यादा कंट्रोवर्सी में रही है मामला नाम को लेकर है और नाम से जुड़ी सेंसिटिविटी को लेकर है फिल्म मेकर्स बहुत सेंसिटिव होते हैं लेकिन जनता उससे भी ज्यादा सेंसिटिव होती है हम बात कर रहे हैं भोला और शंकर वाली वेब सीरीज कंट्रोवर्सी की इस विवाद के केंद्र में कंधार हाईजैक की घटना पर बनी वेब सीरीज आई 814 है जिसका प्रीमियर इन दिनों ओटीटी प्लेटफॉर्म सियासी कलेश शुरू हो गया है फिल्म मेकर अनुभव सिन्हा की वेब सीरीज में आतंकियों के नाम... Read more